गुरदासपुर ( Rajan ) :- पंजाब सरकार लगातार किसानों से कृषि विविधीकरण अपनाने और खेती को बेहतर बनाने के लिए विभिन्न तरीकों को अपनाने की अपील करती रहती है, कृषि विभाग के अधिकारी लगातार किसानों से अपील करते रहते हैं।लेकिन स्थिति यह है कि धान, गेहूं आदि पारंपरिक फसलों को छोड़कर सब्जी या अन्य फसलों की खेती करना आसान नहीं रह गया है। जब उनसे मटर की खेती के बारे में बात की गई तो गांव गूजरपुर डाकी सैन प्रीतपाल सिंह काफी समय से मटर की खेती कर रहे हैं।तो उन्होंने कहा कि आज मटर का बीज रेट 250 रुपये प्रति किलो है, एक एकड़ में दो बोरी खाद 60 किलो से 70 किलो तक लगती है और खेती की लागत दो हजार
रुपये तक आती है. और डेढ़ से दो हजार मटर दाना मशीन लेती है. मटर के दाम 4 रुपये प्रति किलो वसूले जाते हैं.सरकारें फसल बोने को कहती हैं लेकिन जब मटर तैयार होती है तो बाजार अच्छा होता है तो 50-60 रुपये किलो बिकती है लेकिन जब मटर खराब होती है तो 8 रुपये किलो बिकती है 15 रुपए में बिकता है, पैसा हमारी जेब से जाता हैइसके चलते पंजाब सरकार का फर्ज बनता है कि वह किसानों को सब्जियों के लिए सब्सिडी वाले बीज दे, साथ ही दवाइयां और खाद भी सब्सिडी के आधार पर दी जाए ताकि किसान फसलें बदलकर धान की बजाय बागवानी और सब्जियों की खेती पर ध्यान दे सकें। गेहूं की खेती.
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