Punjab News Update , चंडीगढ़ : पंजाब सरकार अपने कर प्रवर्तन को संस्थागत बनाने की दिशा में एक अहम और बड़ा कदम जल्द उठाने जा रही है। इसके तहत वित्त, योजना, आबकारी और कराधान मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने एक राज्य स्तरीय विशेष धोखाधड़ी खोज यूनिट (स्पेशल फ्रॉड डिटेक्शन यूनिट) स्थापित करने के प्रस्ताव का ऐलान किया। इस यूनिट की स्थापना से प्रदेश में वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) उल्लंघनाओं से संबंधित जटिल मामलों की जांच में एकरुपता लाई जाएगी और जांच को सुचारू बनाया जा सकेगा।
एसएफडीयू को दी जाएंगी ये शक्तियां
वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने बताया कि स्पेशल फ्रॉड डिटेक्शन यूनिट (एसएफडीयू) को बड़े स्तर की जीएसटी धोखाधड़ियों का पर्दाफाश और जांच करने का काम सौंपा जाएगा, जिसमें खास तौर पर सर्कुलर ट्रेडिंग आॅपरेशनों को रोकने, बेनामी लेन-देन का पर्दाफाश करने और जाली इनवॉइसिंग की कार्यवाहियों को खत्म करने पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि इस यूनिट को संदिग्ध जीएसटी पहचान नंबरों (जीएसटीआईएन) को रद्द करने, इनपुट्ट टैक्स क्रेडिट (आईटीसी) के गलत दावों को रोकने, और कानूनी जवाबदेही को बरकरार रखने के लिए अपराधियों के विरुद्ध मुकदमा चलाने की सिफारश करने सहित सख्त कार्यान्वयन की कार्रवाई शुरू करने की शक्ति दी जाएगी।
एआई का फायदा उठाएगी प्रदेश सरकार
वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने बताया कि एसएफडीयू अपने खोज सामर्थ्य को बढ़ाने के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई), डेटा ऐनालिटिक्स और केंद्रीकृत बैकएंड ओपरेशनों सहित उन्नत प्रौद्योगिकियों का लाभ उठाएगी। यूनिट टैक्स रिटर्न, लेन-देन के नेटवर्क और वस्तुओं की आवाजाही में विसंगतियों की पहचान करने के लिए राज्य भर में व्यापक डाटा माइनिंग और पेटर्न की पहचान करेगा। वित्त मंत्री ने आगे कहा कि यूनिट डाटा-आधारित रेड फ्लेगस का प्रयोग सिर्फ संदिग्ध या शरारती करदाताओं की जांच करने के लिए करेगी जिससे ईमानदार करदाताओं को अनावश्यक जांच से बचाया जा सकेगा।
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